चित्तौड़ में बज गई कूकर की सीटी, बन गया नया इतिहास, कांग्रेस का हुआ सूपड़ा साफ

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  • चित्तौड़ विस. सीट पर भाजपा की जमानत जब्त
  • चित्तौड़ में चंद्रभान ने नया कीर्तिमान किया स्थापित

चित्तौड़गढ़। विधानसभा चुनाव की मतगणना के परिणाम में निर्दलीय प्रत्याशी चंद्रभान सिंह आक्या की जीत होने
से विधानसभा क्षेत्र में कुकर की सीटी बजने व भाजपा प्रत्याशी नरपत सिंह राजवी की जमानत जब्त होने के साथ ही जिले की
पांचो सीटों से कांग्रेस का सुपड़ा साफ हो गया। चित्तौड़ सीट से निदर्लीय प्रत्याशी आक्या ने भाजपा के नरपत सिंह
राजवी व कांग्रेस के सुरेंद्र सिंह जाड़ावत को त्रिकोणात्मक संघर्ष में पटकनी देकर नया इतिहास बना दिया। निम्बाहेड़ा सीट से भाजपा के श्रीचंद कृपलानी ने कांग्रेस के उदयलाल आंजना, बड़ीसादड़ी से भाजपा के गौतम दक ने कांग्रेस के बद्रीलाल जाट, कपासन से भाजपा के अर्जुन लाल जीनगर ने कांग्रेस के शंकरलाल बैरवा व बेंगु से सर्वाधिक मतों से विजयी रहे भाजपा के डाॅ. सुरेश धाकड़ ने कांग्रेस के राजेंद्र सिंह विधूड़ी को करारी शिकस्त देकर भाजपा का परचम लहराया।


चित्तौड़ में आक्या ने बनाई जीत की हैट्रिक

मतगणना केंद्र पर सवेरे तय समय पर कामिर्कों द्वारा गणना प्रारम्भ की गई, जिसमें चित्तौड़ सीट पर सबसे पहले परिणाम आया। कुल 22 राउण्ड में प्रथम दो राउण्ड में कांग्रेस प्रत्याशी सुरेंद्र सिंह जाड़ावत कुछ मतों के अंतर से आगे रहे लेकिन तीसरे राउण्ड में निदर्लीय प्रत्याशी चंद्रभान सिंह आक्या ने बढत हांसिल की जो 18वें राउण्ड तक जारी रही, हालांकि अंतिम चार राउण्ड में आक्या के बढ़त-घटत रही, लेकिन उन्होेंने 6 हजार 823 मतों से जीत हांसिल कर
लगातार तीसरी बार विधायक के रूप में जीत हासिल कर हैट्रिक बना ली। चुनावी माहौल के अनुसार शुरू से ही निर्दलीय
प्रत्याशी आक्या व कांग्रेस प्रत्याशी जाड़ावत के बीच ही टक्कर मानी जा रही थी, उसी के अनुरूप मतगणना में भी दोनों की बीच ही कांटे की टक्कर रही।

वहीं भाजपा प्रत्याशी राजवी मतगणना के अंतिम दौर तक लगातार पिछड़ते रहे जिसके फलस्वरूप उन्हें मात्र 19 हजार 913 वोटों पर ही संतोष करना पड़ा और निर्वाचन आयोग के मापदण्डानुसार हुए मतदान के 1/6 मत नहीं मिलने से जमानत भी जब्त हो गई। इस विधानसभा क्षेत्र से चुनाव लड़ रहे आठ
प्रत्याशियों में से 6 की जमानत जब्त हुई।


समथर्कों ने आक्या को कंधे पर उठाकर निकाला जीत का जुलुस
भाजपा से जीताउ प्रत्याशी चंद्रभान सिंह आक्या का पार्टी से टिकट कटने के बाद से लगातार जनसमथर्न के बलबूते आक्या चुनावी मैदान में डटे रहे, जिनकी जीत के लिये समथर्क व कार्यकर्ता दिन रात मेहनत में जुटे रहे, जिसके फलस्वरूप
रविवार को आक्या की ऐतिहासिक जीत हुई। जिस पर उनके हजारों कार्यकर्ता व समर्थक सवेरे सेे चुनावी परिणाम पर टकटकी बनाये हुए थे, वही उनकी बढत के बाद कलेक्ट्रेट से लेकर पंचायत समिति के बाहर समथर्कों ने एकत्रित होकर आतिशबाजी कर जीत का जश्न मनाना शुरू कर दिया। मतगणना केंद्र में कुल 22 राउण्ड समाप्ति व जीत की घोषणा के साथ ही आक्या जब शपथ लेकर केंद्र से बाहर निकले तो पलक पावड़े बिछाए हुए समर्थक उनकी ओर दोड़ पड़े जिन्हें कंधे पर उठाकर
कलेक्ट्रेट होते हुए काफी दूर तक जुलुस के रूप में ले गये।

चित्तौड़गढ़ विधानसभा में रोचक मुकाबला देखने को मिला। यहां भाजपा से बागी होकर निदर्लीय मैदान में उतरे चंद्रभान सिंह आक्या 6823 वोटों से जीत गए हैं। वहीं बीजेपी के बड़ीसादड़ी से गौतम दक 11832 मतों से, निंबाहेड़ा से श्रीचन्द कृपलानी 3845 मतों से जीत गए। बीजेपी के कपासन से भी अर्जुनलाल जीनगर और बेगूं से डाॅ. सुरेश धाकड़ भी भारी मतों से विजयी हुए। निर्दलीय प्रत्याशी और भाजपा कार्यकर्ताओ ने शहर में जश्न का जुलुस निकालकर खुशी का इजहार किया।

निर्वाचित हुए प्रत्याशी

आस्था की जीत पर आक्या पदयात्रा करते पहुंचे सांवलियाजी के दरबार में
विजयी प्रत्याशी चंद्रभान सिंह आक्या मेवाड़ के प्रसिद्ध कृष्णधाम मंडफिया स्थित सांवलियाजी के अनन्य भक्त हैं जिसके
चलते निदर्लीय चुनाव की आखरी सभा में भी उन्होंने किसी बड़े नेता के बजाय अपने आराध्य सांवलियाजी को मुख्य अतिथि के रूप में मंच पर विराजित कर उनकी जयघोष के साथ जीत का सपना देखा जो उनकी अटूट आस्था का परिचायक था और अपने संकल्प के अनुसार चुनाव परिणाम में विजयश्री वरण होते ही वे अपने बड़ी संख्या मंे समथर्कों और कायर्कतार्ओं के साथ पदयात्रा करते हुए सांवलियाजी के दरबार में शीश नवाने पहुंच गए। दिनभर हुई रिमझिम बारिश और शीत लहर के बीच आक्या और उनके समथर्कों का उत्साह देखने योग्य था।
तीसरी बार भी हार की हैट्रिक बनाई जाड़ावत ने निर्दलीय प्रत्याशी चंद्रभान सिंह आक्या ने एक बार फिर हैट्रिक लगाते हुए कांग्रेस प्रत्याशी सुरेंद्र सिंह जाड़ावत को
हरा दिया। आक्या ने लगातार तीसरी बार सुरेंद्र सिंह को हराते हुए जीत हासिल की। इससे पहले साल 2013 में चंद्रभान सिंह
आक्या ने पहली बार विधानसभा चित्तौड़गढ़ से विधायक पद के लिए चुनाव लड़े, इसमें उन्होंने कांग्रेस के जाड़ावत को 11 हजार 805 मतों से हराया। उस समय आक्या बीजेपी के प्रत्याशी थे। 2013 के चुनाव में बीजेपी को 85 हजार 391 वोट मिले थे, जबकि कांग्रेस को 73 हजार 850 मत मिले थे। इसी तरह 2018 में दूसरी बार भी विधायक के लिए आक्या चुनाव लडे, जिसमें कांग्रेस प्रत्याशी सुरेंद्र सिंह जाड़ावत को 23 हजार 894 मतों से हराया, बीजेपी को एक लाख 6 हजार 563 वोट मिले थे जबकि कांग्रेस को 82 हजार 669 वोट को मिले थे। इस साल सुरेंद्र सिंह जाड़ावत को
टिकट नहीं मिलने के कयास से काफी विरोध प्रदशर्न हुआ था, जब उन्हें टिकट मिला तो उन्होंने यह एलान किया था
कि यह उनका आखरी चुनाव है। आगे वो पाटीर् से जुड़े रहेंगे और नए प्रत्याशी को तैयार करेंगे।

इस बार बीजेपी सेचंद्रभान का टिकट काटे जाने के बादा अचानक टिकट मिलने पर कांग्रेस प्रत्याशी जीत के प्रति आश्वस्त थे, अशोक गहलोत के विकास कार्यों के आधार पर यह चुनाव लड़ा गया था, लेकिन अपने आखरी चुनाव को भी जाड़ावत जीत में नहीं बदल पाए जिसके फलस्वरूप् वे हार की तीसरी हैट्रिक बना पाए, ऐसी स्थिति में आने वाले समय में उनके राजनैतिक भविष्य पर
स्वतः ही प्रश्नचिन्ह लग जाएगा।

जीते हुए प्रत्याशियों के समर्थकों व तैनात सुरक्षा बल।

 


बड़ीसादड़ी में रही कांटे की टक्कर, लेकिन अपनो ने ही हरा दिया

जिले की बड़ीसादड़ी विधानसभा सीट पर मतगणना के दौरान कांटे की टक्कर देखने को मिली, जहां शुरू के दौर में कभी कांग्रेस के बद्रीलाल जाट तो कभी भाजपा के गौतम दक को बढत मिलती रही। कांग्रेस के बद्रीलाल जाट के लिये नया क्षेत्र होने के बावजूद भाजपा के दक को टक्कर देते नजर आये, लेकिन संभवतः कांग्रेस के भीतरघात के कारण बद्रीलाल को 11 हजार 832 मतों से हार का सामना करना पड़ा। भाजपा ने 2013 के विजेता प्रत्याशी गौतम दक को चुनावी मैदान में उतारा, वही कांग्रेेस ने क्षेत्र के लगातार चुनाव लड़ रहे प्रकाश चैधरी की जगह बद्रीलाल जाट को प्रत्याशी बनाया। जिसके चलते नाराज प्रकाश चैधरी लगातार बद्रीलाल का विरोध करते रहे, इतना ही नहीं उन्होंने निर्दलीय तौर पर चुनावी मैदान में ताल ठोक दी, लेकिन संभवतः आलाकमान से बात कर पुनः बैठ तो गये लेकिन चौधरी सहित टिकट दावेदार हनुमंत सिंह बोहेड़ा सहित अन्य भितरी घात करने में कोई कोर कसर नहीं रखी, जिसके
कारण बद्रीलाल को हार का सामना करना पड़ा और दक ने जीत हासिल कर ली।
बंेगू से रिकाॅडर् मतों से धाकड़ की जीत
जिले का बेंगू विधानसभा क्षेत्र, क्षेत्रफल की दष्टि से संभवतः राजस्थान का सबसे बड़ा क्षेत्र है, जहां की मतगणना सर्वाधिक 25 राउण्ड में पूरी हुई जहां मतगणना के प्रारंभ से ही भाजपा प्रत्याशी डाॅ. सुरेश धाकड़ लगातार बढ़त बनाए रहे और आखिर में उन्हें रिकार्ड 50 हजार 661 मतों से विजयश्री हासिल हुई। इस चुनाव में लगातार दो बार विधायक रहे कांग्रेस के राजेन्द्र सिंह विधूड़ी को उनके बेतूके बयानो और व्यवहार के चलते क्षेत्र की जनता ने पूरी तरह नकार दिया जिसके फलस्वरूप तीसरी बार आखिर उन्हें अपने ही निकटतम प्रतिद्वंदी डाॅ. धाकड़ से बड़ी हार का मूंह
देखना पड़ा।

निंबाहेड़ा सीट के प्रत्याशी।

निंबाहेड़ा में हार-जीत की परंपरा बरकरार रही: कृपलानी ने जीत हासिल की

निंबाहेड़ा विधानसभा क्षेत्र में पिछले कई चुनावों में भाजपा और कांग्रेस के बीच राजस्थान की राजनीति के अनुरूप राज और रिवाज बदलता रहा है जहां कांग्रेस के उदयलाल आंजना व भाजपा के श्रीचन्द कृपलानी के बीच चुनावी जंग में एक बार तू और एक बार मैं की परिपाटी रही है, जो इस बार भी चरितार्थ हुई, जहां मतगणना के दौरान भाजपा प्रत्याशी कृपलानी लगातार बढत बनाते हुए कांटे की टक्कर में रहे लेकिन आखिर में उन्हें 3 हजार 845 मतों से विजयश्री हासिल हो गई। वर्ष 2018 के चुनाव में कांग्रेस के उदयलाल आंजना ने भाजपा के कृपलानी को पराजित कर जीत हासिल करते हुए सहकारिता मंत्री का पद हासिल किया जबकि 2013 के चुनाव में मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे के नेतृत्व में बनी सरकार में कृपलानी शहरी विकास मंत्री बने थे, इस बार फिर जीत हासिल कर जातिय समीकरण के अनुसार उन्हें फिर से राज्य मंत्रीमंडल में स्थान मिलने की संभावना है।

सुरेश ने विधूड़ी को 50 हज़ार से हराया

भाजपा प्रत्याशी राजवी सहित 37 प्रत्याशियों की जमानत हुई जब्त
विधानसभा चुनाव 2023 के अंतगर्त जिले की पांचों विधानसभाओं की मतगणना रविवार को मेजर नटवर राजकीय उच्च
माध्यमिक विद्यालय में शांति पूवर्क संपन्न हुई। घोषित चुनाव परिणामों के अनुसार विधानसभा कपासन से अजर्ुन लाल
जीनगर, बेगूं से डॉ. सुरेश धाकड़, चित्तौड़गढ़ से चन्द्रभान सिंह चौहान, निंबाहेड़ा से श्रीचन्द्र कृपलानी तथा बड़ी सादड़ी से गौतक कुमार ने जीत दर्ज की। इस चुनाव में जिले की पांचों विधानसभाओ में कुल 47
प्रत्याशी मैदान में थे जिनमें से भाजपा प्रत्याशी नरपत सिंह राजवी सहित 37 प्रत्याशियों की जमानते जब्त हो गई।
कपासन में जीनगर ने 21344 वोटों से जीत हासिल की रिटर्निंग अधिकारी से प्राप्त सूचना के अनुसार विधानसभा कपासन से भाजपा के अजर्ुन लाल जीनगर ने 84778 वोट प्राप्त कर जीत दर्ज की। उन्होंने अपने निकटतम प्रतिद्वंदी कांग्रेस के शंकर लाल बैरवा को 21344 वोटों से हराया। कपासन विधानसभा निवार्चन क्षेत्र में कुल 9 प्रत्याशी मैदान में थे। भारतीय जनता पाटीर् से अजर्ुन लाल जीनगर को 84778, भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस से शंकर लाल बैरवा को 63434, राइट टू रिकॉल पाटीर् से जितेंद्र कुमार 1267, राष्ट्रीय
लोकतांत्रिक पार्टी से आनंदी राम 29425, बहुजन मुक्ति पार्टी से मांगी लाल सोलंकी 528, बहुजन समाज पार्टी से बालूराम
को 1110 एवं निर्दलीय प्रत्याशी के रूप में आनंद कुमार बैरवा 1358, बंशी मेघवाल को 1486 एवं दिनेश चन्द को 15527 वोट मिले। नोटा पर 2845 वोट डाले गए। इस क्षेत्र से 7 प्रत्याशियों की जमानते जब्त हुई।
बेंगू में डाॅ. धाकड़ ने प्रतिद्वंदी को दी पटकनी
विधानसभा बेंगू से डॉ. सुरेश धाकड़ ने 1 लाख 36 हजार 714 वोट प्राप्त कर जीत दजर् की। उन्होंने अपने निकटतम
प्रतिद्वंदी गुजर्र राजेन्द्र सिंह बिधूड़ी को 50661 वोटों से हराया। बेगूं विधानसभा निवार्चन क्षेत्र में कुल 8 प्रत्याशी मैदान में थे। भारतीय जनता पार्टी से डाॅ. सुरेश धाकड़ को 136714, भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस से गुर्जर राजेन्द्र सिंह बिधूड़ी को 86053, राइट टू रिकॉल पार्टी से इश्वर चैधरी को 1133, राष्ट्रीय लोकतांत्रिक पार्टी से नरेश कुमार गुजर्र को 4299, बहुजन समाज पाटीर् से औंकार 2297, आम आदमी पाटीर् से रमेश राघव 998 एवं निदर्लीय प्रत्याशी के रूप में जय प्रकाश आमेटा 596, सुरेश कुमार धाकड़ को 1498 वोट मिले। नोटा पर 2103 वोट डाले गए। इस क्षेत्र से 6 प्रत्याशियों की जमानते जब्त हुई।

आक्या का जनसमर्थन जीता
विधानसभा चित्तौड़गढ़ से चन्द्रभान सिंह चौहान ने 98 हजार 446 वोट प्राप्त कर जीत दर्ज की। उन्होंने अपने निकटतम प्रतिद्वंदी सुरेन्द्र सिंह जाड़ावत को 6823 वोटों से हराया। चित्तौड़गढ़ विधानसभा निवार्चन क्षेत्र कुल 8 प्रत्याशी मैदान में थे। भारतीय जनता पार्टी से नरपत सिंह राजवी को 19913, भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस से सुरेन्द्र सिंह जाड़ावत 91 हजार 623, पहचान पिपुल्स पाटीर् से मोहम्मद वहिद खान 1426, बहुजन समाज पाटीर् से रामेश्वर लाल बैरवा 987, अभिनव लोकतंत्र पाटीर् से जोगेन्द्र सिंह हुड्डा 1537 एवं निदर्लीय प्रत्याशी के रूप में चन्द्रभान सिहं चौहान को 98 हजार 446, दिलखुश को 1068 एवं नारायण लाल को 552 वोट मिले। नोटा पर 1527 वोट डाले गए। जिसके फलस्वरूप 6 प्रत्याशियों की जमानते जब्त हुई।


गौतम ने बद्री को हराया
विधानसभा बड़ीसादड़ी से गौतम दक ने 1 लाख 03 हजार 940 वोट प्राप्त कर जीत दजर् की। उन्होंने अपने निकटतम
प्रतिद्वंदी बद्रीलाल जाट को 11832 को वोटों से हराया। बड़ीसादड़ी विधानसभा निवार्चन क्षेत्र में कुल 12 प्रत्याशी मैदान में थे। भारतीय जनता पाटीर् से गौतम कुमार को 1 लाख 03 हजार 940, भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस से बद्री लाल जाट को 92 हजार 108, निदर्लीय बंशी लाल कुमावत को 225, श्यामलाल को 1397, भुपाल को 305, घनश्याम लाल जणवा 311, श्याम लाल मेघवाल 1802, भैरूलाल 476, गुलाब चंद को 260 वोट मिले। इसी प्रकार आजाद समाज पाटीर् से शंकर लाल को 1014, बहुजन समाज पाटीर् से भगवती लाल रेगर को 1393, भारत आदिवासी पाटीर् से फौजी लाल को 11833
वोट मिले। नोटा पर 3580 वोट डाले गए। जिसके फलस्वरूप 10 प्रत्याशियों की जमानते जब्त हुई।

परंपरागत प्रतिद्वंदी को हराया कृपलानी ने
विधानसभा निंबाहेड़ा से श्रीचन्द्र कृपलानी ने 1 लाख 16 हजार 640 वोट प्राप्त कर जीत दजर् करते हुए। उन्होंने अपने
निकटतम प्रतिद्वंदी अंजना उदयलाल को 3845 वोटांे से हराया। निम्बाहेड़ा विधानसभा निवार्चन क्षेत्र में कुल 10
प्रत्याशी मैदान में थे। भारतीय जनता पाटीर् से श्रीचन्द कृपलानी को 1 लाख 16 हजार 640, भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस से उदयलाल आंजना को 1 लाख 12 हजार 795, राष्ट्रीय लोकतांत्रिक पाटीर् से शंभूलाल को 445, अखिल भारतीय कांग्रेस दल से प्रकाश को 1060, आम आदमी पाटीर् से शाकिब मिया 633, बहुजन समाज पाटीर् से।राधेश्याम 1544, राइट टू रिकॉल पाटीर् से गोपाल को 1076, बहुजन मुक्ति पाटीर् से लाभ चन्द 213, निदर्लीय के रूप में गुलाब चन्द को 221 एवं रमेश को 438
वोट मिले। नोटा पर 2485 वोट डाले गए। इस क्षेत्र से 8 प्रत्याशी अपनी जमानत खो बैठे।

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