- वन, पर्यावरण एवं जलवायु परिवर्तन विभाग द्वारा जिला स्तर पर सम्बंधित हितधारकों के साथ मिशन 2030 के सम्बंध में परामर्श वार्ता करने हेतु बैठक आयोजित
राजस्थान-मिशन 2030 अभियान के अंतर्गत वन, पर्यावरण एवं जलवायु परिवर्तन विभाग द्वारा जिला स्तर पर सम्बंधित हितधारकों के साथ मिशन 2030 के सम्बंध में परामर्श वार्ता करने हेतु बैठक शुक्रवार को प्रातः 10 बजे सोनल जोरीहार, उप वन संरक्षक (वन्यजीव), चित्तौडगढ़ एवं विजय शंकर पाण्डे, उप वन संरक्षक, चित्तौडगढ़ की अध्यक्षता में तथा आशीष कुमार बौरासी, क्षेत्रीय अधिकारी, राजस्थान राज्य प्रदूषण नियंत्रण मण्डल, चित्तौडगढ़ की उपस्थिति मे जिला कलेक्ट्रेट स्थित ग्रामीण विकास सभागार में आयोजित की गई।
बैठक में जिले के विभिन्न औद्योगिक इकाईयों के प्रतिनिधि यथा सीमेंट उद्योग, फर्टिलाईजर उद्योग, राजस्थान परमाणु बिजलीघर, टेक्सटाइल उद्योग, मार्बल एवं ग्रेनाइट स्टोन कटिंग उद्योग, माईंस व स्टोन क्रशर उद्योग के प्रतिनिधि तथा वन विभाग के हितधारक उपस्थित हुए।
बैठक में वन, पर्यावरण एवं जलवायु परिवर्तन विभाग द्वारा राज्य भर में किये जा रहें उत्कृष्ट कार्यों से अवगत कराया गया तथा प्रत्येक क्षेत्र के लिए मानकों के निर्धारण एवं इनकों प्राप्त करने के लिए समयबद्ध कार्य योजना तैयार कर विकसित राजस्थान हेतु राज्य सरकार द्वारा विजन दस्तावेज-2030 तैयार करने के सम्बंध में चर्चा की गई। राजस्थान- मिशन 2030 अभियान के अंतर्गत सम्बंधित हितधारकों के अनुभव ज्ञान, प्रेरणा और विचार इस विजन दस्तावेज 2030 को तैयार करने की महत्वपूर्ण भूमिका को समझते हुए संबंधित हितधारकों से उनके सुझाव लिए गये। बैठक में उपस्थित उद्योग प्रतिनिधियों तथा वन विभाग के हितधारकों द्वारा अपने अमुल्य सुझाव प्रस्तुत किये गये।
उप वन संरक्षक, चित्तौडगढ़ ने वन विभाग की विभिन्न योजना से अवगत कराया एवं विशेषकर ट्रीज आउटसाइड फोरेस्ट इन राजस्थान (OTFR) योजना की जानकारी सम्बधित हितधारकों से साझा की गई।
क्षेत्रीय अधिकारी राजस्थान राज्य प्रदूषण नियंत्रण मण्डल, चित्तौडगढ़ ने बताया कि भारत सरकार की अधिसूचना दिनांक 12.08.2021 के अनुसार सिंगल यूज प्लास्टिक उत्पाद जैसे प्लास्टिक स्टिक वाले ईयर बड्स, गुब्बारों के लिए प्लास्टिक की डंडिया, प्लास्टिक के झंडे, कैंडी, आईसक्रीम की डंडिया, पॉलीस्टाइरीन (थर्मोकाल) की सजावटी सामग्री, प्लास्टिक प्लेटें, कप, गिलास, कांटे, चम्मच, चाकू, स्ट्रा, ट्रे, कटलरी मिठाई के डिब्बों, निमंत्रण कार्ड और सिगरेट पैकेट के ईर्द-गिर्द लपेटने/पैक करने वाली फिल्में, 100 माईक्रोन से कम मोटाई वाले प्लास्टिक/पीवीसी बैनर, स्ट्रिर का विनिर्माण, भण्डारण, विक्रय व उपभोग दिनांक 01.07.2022 से प्रतिबन्धित किया गया है।
क्षेत्रीय अधिकारी राजस्थान राज्य प्रदूषण नियंत्रण मण्डल, चित्तौडगढ़ ने बताया कि राजस्थान राज्य प्रदूषण नियंत्रण मण्डल, जयपुर द्वारा जारी आदेश दिनांक 26.04.2023 के अनुसार जो भी व्यक्ति प्रतिबंधित सिंगल युज प्लास्टिक के उत्पादन इकाईयों की सूचना राजस्थान राज्य प्रदूषण नियंत्रण मण्डल को प्रेषित करेगा उसे 5000/- रूपये का वित्तीय पुरस्कार दिया जायेगा।
राज्य सरकार प्रदेश के चहुंमुखी विकास एवं प्रदेशवासियों की खुशहाली एवं उन्हें सामाजिक सुरक्षा प्रदान करने के लिए संकल्पबद्ध है। सरकार का प्रयास है कि राजस्थान वर्ष 2030 तक देश का अग्रणी राज्य बने इस हेतु प्रत्येक क्षेत्र के लिए मानकों के निर्धारण एवं इनको प्राप्त करने के लिए समयबद्ध कार्य योजना तैयार कर विकसित राजस्थान हेतु राज्य सरकार द्वारा विजन दस्तावेज 2030 तैयार करने का निर्णय लिया गया है। इस उद्देश्य से राज्य में आगामी डेढ़ माह की अवधि के दौरान राजस्थान-मिशन 2030 अभियान संचालित किया जाएगा।
राजस्थान- मिशन 2030 अभियान के अंतर्गत वन, पर्यावरण एवं जलवायु परिवर्तन विभाग द्वारा जिला स्तर पर सम्बंधित हितधारकों के साथ मिशन 2030 के संबंध में परामर्श वार्तायें आयोजित की जा रही है। आप का अनुभव ज्ञान, प्रेरणा, विचार और गरिमामय उपस्थिति इस विजन दस्तावेज 2030 को तैयार करने में महत्वपूर्ण योगदान प्रदान करेगी।